शेयर बाजार में ग्रुप

शेयर बाजार में लगातार तीसरे दिन गिरावट, सेंसेक्स 61,000 के नीचे हुआ बंद

सकारात्मक वैश्विक रुझानों के बावजूद प्रमुख शेयर बाजार गुरुवार को शुरुआती बढ़त को कायम नहीं रख सके और बाजार लगातार तीसरे कारोबारी सत्र में गिरावट के साथ बंद हुआ। इससे पहले बुधवार को भारतीय रिजर्व बैंक की मौद्रिक नीतिक समिति की बैठक का ब्योरा जारी हुआ था, जिसका असर बाजार की धारणा पर पड़ा।

सकारात्मक शुरुआत के बावजूद 30 शेयरों वाला BSE सेंसेक्स बढ़त बरकरार नहीं रख सका और कारोबार के अंत में 241.02 अंक या 0.39 फीसदी की गिरावट के साथ 60,826.22 पर बंद हुआ। इसी तरह नेशनल स्टॉक एक्सचेंज (NSE) का निफ्टी 71.75 अंक या 0.39 फीसदी गिरकर 18,127.35 अंक पर बंद हुआ।

जियोजीत फाइनेंशियल सर्विसेज के शोध प्रमुख विनोद नायर ने कहा, ‘वैश्विक बाजारों में सकारात्मक रुख भी घरेलू शेयर बाजारों में जोश भरने में विफल रहा। रिजर्व बैंक की मौद्रिक नीति समिति (MPC) की बैठक का ब्योरा जारी होने से भी घरेलू स्टॉक मार्केट या शेयर बाज़ार क्या हैं बाजार में बिकवाली हुई, क्योंकि इसमें केंद्रीय बैंक ने कुछ सख्त टिप्पणियां की हैं।’

RBI के गवर्नर शक्तिकांत दास ने कहा था कि इस समय नीतिगत कार्रवाई को रोकने की गलती महंगी साबित हो सकती है। केंद्रीय बैंक ने कहा कि मुद्रास्फीति के खिलाफ लड़ाई खत्म नहीं हुई है।

Top Gainers

अल्ट्राटेक सीमेंट, इन्फोसिस, एशियन पेंट्स, कोटक महिंद्रा बैंक, सन फार्मा और भारती एयरटेल फायदे में रहे।

Top Losers

सेंसेक्स के शेयरों में महिंद्रा एंड महिंद्रा, बजाज फिनसर्व, इंडसइंड बैंक, टाटा मोटर्स, टाटा स्टील, लार्सन एंड टुब्रो, एक्सिस बैंक और एनटीपीसी में नुकसान रहा।

International Indices

अन्य एशियाई बाजारों में दक्षिण कोरिया का कॉस्पी, जापान का निक्की और हांगकांग का हैंगसेंग लाभ में रहे, जबकि चीन का शंघाई कम्पोजिट निचले स्तर पर बंद हुआ। मध्य सत्र के सौदों में यूरोपीय बाजार तेजी के साथ कारोबार कर रहे थे। अमेरिकी बाजार बुधवार को बढ़त के साथ बंद हुए। अंतरराष्ट्रीय तेल बेंचमार्क ब्रेंट क्रूड 0.99 फीसदी चढ़कर 83.01 डॉलर प्रति बैरल के भाव पर पहुंच गया।

शेयर बाजार के अस्थायी आंकड़ों के मुताबिक, विदेशी संस्थागत निवेशकों (FII) ने बुधवार को शुद्ध रूप से 1,119.11 करोड़ रुपये के शेयर बेचे।

Harsha IPO: आज होगी शेयर बाजार में हर्षा इंजीनियर्स की लिस्टिंग, जानें स्टॉक मार्केट या शेयर बाज़ार क्या हैं क्या होगी शेयरों की कीमत?

Harsha IPO: हर्षा इंजीनियर्स के आईपीओ में निवेशकों ने बढ़िया दिलचस्पी दिखाई थी। बाजार के जानकारों का मानना है कि कंपनी के शेयर इक्विटी मार्केट में 480 रुपये से 550 रुपये की कीमत पर लिस्ट हो सकते हैं। अगर ऐसा होता तो निवेशकों को स्टॉक मार्केट या शेयर बाज़ार क्या हैं आईपीओ प्राइस प्राइस बैंड के ऊपरी छोड़ पर निवेशकों को 45 से 51 प्रतिशत का प्रमियम हासिल हो जाएगा।

हर्षा इंजीनियर्स मार्केट लिस्टिंग

घरेलू शेयर बाजार में पिछले तीन दिनो में आई बड़ी गिरावट के बावजूद उम्मीद है कि हर्षा इंजीनियर्स के शेयर बाजार में अपने आईपीओ प्राइस 300 रुपये प्रति शेयर के ऊपर एक बढ़िया प्रीमियम के साथ लिस्ट होंगे। बता दें कि हर्षा इंजीनियर्स का आईपीओ सब्सक्रिप्शन 14 सितंबर को खुला था। अपने बिडिंग स्टॉक मार्केट या शेयर बाज़ार क्या हैं प्रोसस के अंतिम दिन 16 सितंबर तक कंपनी के आईपीओ को 74.70 गुना तक ओवरसब्सक्राइब कर लिया गया था। बाजार में इसके शेयरों की लिस्टिंग आज यानी 26 सितंबर को होनी है।

हर्षा इंजीनियर्स के आईपीओ में निवेशकों ने बढ़िया दिलचस्पी दिखाई थी। बाजार के जानकारों का मानना है कि कंपनी के शेयर इक्विटी मार्केट में 480 रुपये से 550 रुपये की कीमत पर लिस्ट हो सकते हैं। अगर ऐसा होता तो निवेशकों को आईपीओ प्राइस प्राइस बैंड के ऊपरी छोड़ पर निवेशकों को 45 से 51 प्रतिशत का प्रमियम हासिल हो जाएगा। बता दें कि कंपनी ने अपने पब्लिक इश्यू के दौरान 314-330 रुपये का प्राइस बैंड तय किया था।

पब्लिक इश्यू के दौरान क्वालिफाइड संथागत निवेशकों के लिए रिजर्व कोटे में आईपीओ को 178.26 गुना ओवर सब्सक्राइब कर लिया गया था। उसी तरह गैरसंस्थागत निवेशकों और खुदरा निवेशकों के लिए तय कोटे को भी क्रमशः 71.72 गुना और 17.63 गुना ओवर सब्सक्राइब किया गया। हर्षा इंजीनियरिंग के प्रोडक्ट सेगमेंट में एक आभासी एकाधिकार व्यापार मॉडल दिखने के कारण पब्लिक इश्यू के दौरान निवेशकों के बीच बढ़िया मांग दिखी। यही कारण उच्च प्रीमियम के साथा कंपनी के शेयरों की इक्विटी बाजार में लिस्टिंग को उचित ठहरा रहा है।

व्यापार जगत में अपने प्रतिद्वंदियों की तुलना में कंपनी का मूल्यांकन मूल्य बहुत बढ़िया है। इक्विटी मार्केट के जानकार हर्षा इंजीनियर्स की लिस्टिंग को बहुत सकारात्मक नजरिए से देख रहे हैं। वे यह भी सलाह दे रहे हैं कि जिन निवेशकों को आईपीओ में शेयरों का अलॉटमेंट हुआ है उनके लिए प्रॉफिट बुकिंग का भी यह अच्छा मौका होगा।

विस्तार

घरेलू शेयर बाजार में पिछले तीन दिनो में आई बड़ी गिरावट के बावजूद उम्मीद है कि हर्षा इंजीनियर्स के शेयर बाजार में अपने आईपीओ प्राइस 300 रुपये प्रति शेयर के ऊपर एक बढ़िया प्रीमियम के साथ लिस्ट होंगे। बता दें कि हर्षा इंजीनियर्स का आईपीओ सब्सक्रिप्शन 14 सितंबर को खुला था। अपने बिडिंग प्रोसस के अंतिम दिन 16 सितंबर तक कंपनी के आईपीओ को 74.70 गुना तक ओवरसब्सक्राइब कर लिया गया था। बाजार में इसके शेयरों की लिस्टिंग आज यानी 26 सितंबर को होनी है।

हर्षा इंजीनियर्स के आईपीओ में निवेशकों ने बढ़िया दिलचस्पी दिखाई थी। बाजार के जानकारों का मानना है कि कंपनी के शेयर स्टॉक मार्केट या शेयर बाज़ार क्या हैं इक्विटी मार्केट में 480 रुपये से 550 रुपये की कीमत पर लिस्ट हो सकते हैं। अगर ऐसा होता तो निवेशकों को आईपीओ प्राइस प्राइस स्टॉक मार्केट या शेयर बाज़ार क्या हैं बैंड के ऊपरी छोड़ पर निवेशकों को 45 से 51 प्रतिशत का प्रमियम हासिल हो जाएगा। बता दें कि कंपनी ने अपने पब्लिक इश्यू के दौरान 314-330 रुपये का प्राइस बैंड तय किया था।

पब्लिक इश्यू के दौरान क्वालिफाइड संथागत निवेशकों के लिए रिजर्व कोटे में आईपीओ को 178.26 गुना ओवर सब्सक्राइब कर लिया गया था। उसी तरह गैरसंस्थागत निवेशकों और खुदरा निवेशकों के लिए तय कोटे को भी क्रमशः 71.72 गुना और 17.63 गुना ओवर सब्सक्राइब किया गया। हर्षा इंजीनियरिंग के प्रोडक्ट सेगमेंट में एक आभासी एकाधिकार व्यापार मॉडल दिखने के कारण पब्लिक इश्यू के दौरान निवेशकों के बीच बढ़िया मांग दिखी। यही कारण उच्च प्रीमियम के साथा कंपनी के शेयरों की इक्विटी बाजार में लिस्टिंग को उचित ठहरा रहा है।

व्यापार जगत में अपने प्रतिद्वंदियों की तुलना में कंपनी का मूल्यांकन मूल्य बहुत बढ़िया है। इक्विटी मार्केट के जानकार हर्षा इंजीनियर्स की लिस्टिंग को बहुत सकारात्मक नजरिए से देख रहे हैं। वे यह भी सलाह दे रहे हैं कि जिन निवेशकों को आईपीओ में शेयरों का अलॉटमेंट हुआ है उनके लिए प्रॉफिट बुकिंग का भी यह अच्छा मौका होगा।

शेयर बाजार में ग्रुप

शेयर बाजार में ग्रुप A, B, T और Z क्या हैं और इनका वर्गिकरण कैसे होता है। क्यों अलग अलग श्रेणियों में बांटा जाता है BSE के शेयरों को। मुम्बई स्टॉक एक्सचेंज के शेयरों को ट्रेडिंग के उद्देश्य से अलग अलग श्रेणियों में बांटने के क्या कारण हैं, कौन कौन सी श्रेणियां हैं और इनमें क्या अंतर हैं। आईये स्टॉक मार्केट या शेयर बाज़ार क्या हैं समझते हैं बॉम्बे शेयर बाजार में शेयरों के वर्गिकरण क्यों और कैसे किया जाता है।

शेयर बाजार में ग्रुप

शेयर बाजार में ग्रुप

शेयर बाजार में ग्रुप – वर्गिकरण का आधार

मुम्बई स्टॉक एक्सचेंज में सभी शेयरों को ग्रुप A, B, T और Z में बांटा गया है। हालांकि यह वर्गिकरण ट्रेडिंग की सुविधा के लिये किया गया है मगर कौन सा शेयर किस कैटेगरी में है यह उसकी विकास क्षमता और उसके गुणों के बारे में भी बहुत कुछ कहता है। बीएसई पर कारोबार की गई सिक्योरिटीज को विभिन्न समूहों में वर्गीकृत किया गया है।

शेयर बाजार में ग्रुप

बीएसई ने निवेशकों के मार्गदर्शन और लाभ के लिए इक्विटी सेगमेंट में सिक्योरिटीज को ‘ए’, ‘बी’, ‘टी’ और ‘जेड’ समूहों में कुछ गुणात्मक और मात्रात्मक मानकों के आधार पर वर्गीकृत किया है।

ग्रुप A

शेयर मार्केट में ग्रुप ए में सबसे लोकप्रिय शेयर शामिल हैं। स्टॉक जो सक्रिय रूप से कारोबार कर रहे हैं वे A ग्रुप में आते हैं। ‘ए’ समूह में मुख्यत मार्केट कैपिटलाईजेशन, टर्नोवर और लिक्विडिटी के आधार पर टॉप 300 शेयरों को रखा जाता है। A स्टॉक मार्केट या शेयर बाज़ार क्या हैं ग्रुप के शेयर सबसे ज्यादा लिक्विड शेयर होते हें। लिक्विड शेयर का मतलब शेयर की तरलता से है। आसान भाषा में समझें तो ऐसे शेयरों में हमेशा खरीदार और बेचने वाले उपलब्ध रहते हें और शेयर खरीदने या बेचने में आसानी रहती है। A श्रेणी के शेयरों में तुलनात्मक रूप से ट्रेडिंग वॉल्युम (व्यापार की मात्रा) हाई रहता है। A श्रेणी के शेयरों में ट्रेड सैटलमेंट नॉर्मल ट्रेडिंग सैटलमेंट की प्रक्रिया से की जाती है। अधिकतर ब्लू चिप और FMCG शेयर इसी ग्रुप में मिलते हैं। यहां पढ़ें किस कंपनी का शेयर खरीदें हमारी साइट पर।

ग्रुप T

टी समूह के तहत आने वाले शेयरों को एक्सचेंज के ट्रेड टु ट्रेड सैटलमेंट प्रणाली के रूप में माना जाता है। इस समूह में प्रत्येक ट्रेड को अलग लेनदेन के रूप में देखा जाता है और रोलिंग सिस्टम में ट्रेड की तरह कोई नेट-आउट नहीं होती है। व्यापारियों जो इस ग्रुप के शेयर खरीदने इस समूह की स्क्रिप्ट को बेचने के लिए, टी + 2 दिनों तक राशि का भुगतान करना या शेयर देना होगा। उदाहरण के लिए, आपने टी समूह के 100 शेयर खरीदे और उसी दिन 100 अन्य शेयर बेचे। फिर, आपके द्वारा खरीदे गए शेयर, आपको उन शेयरों की कीमत दो दिनों में चुकानी पड़ेगी। और आपके द्वारा बेचे गए शेयरों के लिए, आपको टी + 2 दिनों के शेयरों को डिलीवरी करना होगा, ताकि एक्सचेंज समय पर निपटान कर सके।

ग्रुप Z

जेड ग्रुप में इक्विटी स्टॉक शामिल हैं जिन्हें एक्सचेंज नियमों और विनियमों का पालन न करने के लिए ब्लैकलिस्ट किया गया है या निवेशक शिकायतों या ऐसे किसी कारण से लंबित है।

ग्रुप B

बी श्रेणी में ऐसे स्टॉक शामिल हैं जो उपर्युक्त इक्विटी समूहों में से किसी एक का हिस्सा नहीं बनते हैं।

इसके अतिरिक्त बीएसई में एफ समूह भी है जो ऋण बाजार खंड को दर्शाता है।

यह थी हमारी कोशिश कि आप भारतीय शेयर बाजार में प्रवेश करने से पहले शेयरों के वर्गीकरण को सीखें लें जिससे आपको पता चल जाये कि शेयर बाजार में ग्रुप किस आधार पर बनाये जाते हैं और उनका क्या महत्व है।

कैसे शेयर बाज़ार (stock market) स्टॉक मार्केट या शेयर बाज़ार क्या हैं स्टॉक मार्केट या शेयर बाज़ार क्या हैं में निवेश करें

यह आर्टिकल लिखा गया सहयोगी लेखक द्वारा Ara Oghoorian, CPA. आरा ओघूरियन एक सर्टिफाइड फिनेंसिअल अकाउंटेंट (CFA), सर्टिफाइड फिनेंसिअल प्लानर (CFP), एक सर्टिफाइड पब्लिक अकाउंटेंट (CPA), और ACap Advisors & Accountants, जो एक बुटीक वेल्थ मैनेजमेंट और लॉस एंजिल्स, कैलिफोर्निया में फुल सर्विस एकाउंटिंग फर्म के संस्थापक हैं। वित्तीय उद्योग में 26 से अधिक वर्षों के अनुभव के साथ, आरा ने 2009 में ACap Asset Management की स्थापना की। उन्होंने पहले फेडरल रिजर्व बैंक ऑफ सैन फ्रांसिस्को, यूएस डिपार्टमेंट ऑफ ट्रेजरी, और रिपब्लिक ऑफ़ आर्मेनिया में वित्त और अर्थव्यवस्था मंत्रालय के साथ काम किया है। सैन फ्रांसिस्को स्टेट यूनिवर्सिटी से आरा ने एकाउंटिंग और फाइनेंस में BS की डिग्री प्राप्त की है, फेडरल रिजर्व बोर्ड ऑफ गवर्नर्स के माध्यम से एक कमीशन बैंक परीक्षक है, चार्टर्ड फाइनेंसियल एनालिस्ट डेसिग्नेशन पर कार्यरत है, एक प्रमाणित वित्तीय नियोजक™ प्रैक्टिशनर है, और एक सर्टिफाइड पब्लिक अकाउंटेंट लाइसेंस रखती है, एक नामांकित एजेंट, और 65 लाइसेंस की सीरीज़ रखते हैं।

यहाँ पर 36 रेफरेन्स दिए गए हैं जिन्हे आप आर्टिकल में नीचे देख सकते हैं।

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यह कोई संयोग नहीं है कि ज्यादातर अमीर लोग शेयर बाज़ार (stock market) में निवेश करते हैं। इसमें तकदीरें बनती और बिगड़ती भी है, लेकिन स्टॉक में निवेश आर्थिक सुरक्षा, स्वतंत्रता, तथा पीढ़ियों के लिए घर एकत्रित करने का सबसे बढ़िया तरीका है। चाहे आपने अभी-अभी बचत करना शुरू किया है या अपने रिटायरमेंट (retirement) के लिए पूंजी बचा कर रखी है, तो आपकी बचत, आपका पैसा आपके लिए बिलकुल वैसे ही कार्य करेगा जैसा आपने कार्य करके उसे कमाया है। इसमें कामयाबी के लिए, यह जरूरी है, स्टॉक मार्केट या शेयर बाज़ार क्या हैं कि आपकी स्टॉक मार्केट मतलब शेयर बाज़ार के बारे में जानकारी या समझ एकदम पक्की हो। यह लेख आपको निवेश संबंधी निर्णय की प्रक्रिया के बारे में बताएगा एवं कामयाब निवेशक बनने में मदद करेगा। यह लेख विशेष रूप से शेयरों में निवेश पर चर्चा करता है। शेयर में व्यापार के लिए, पढ़े कैसे शेयर बाज़ार में व्यापार करें। म्यूच्यूअल फंड्स के लिए, पढ़े कैसे निर्णय लें कि स्टॉक या म्यूच्यूअल फंड्स (mutual funds) खरीदें या नहीं।

बाजार का रुख कैसा भी हो, निवेश करते रहें: शेयर बाजार निचले स्तर पर हो या ऊंचाई पर, धैर्य हो तो हर हाल में होता है फायदा

रिटेल निवेशक आम तौर पर इक्विटी में निवेश से कतराते हैं। धैर्य, जिज्ञासा और जानकारी का अभाव इसकी वजह होती है। ऐसे में वे सही तरीके से पैसा कमाने के इस शानदार जरिए का पूरा फायदा नहीं उठा पाते। कुछ लोग इक्विटी में निवेश के बारे सोचते भी हैं तो बाजार में उतार-चढ़ाव को लेकर सीमित समझ उन्हें ऐसा करने से रोक देती है।

ज्यादातर लोगों को लगता है कि "सस्ता खरीदो और महंगा बेचो'' का नियम शेयर बाजार में काम नहीं करता है। कभी-कभार भारी उतार-चढ़ाव इसकी वजह होती है। लेकिन यह समझ गलत है क्योंकि शेयरों के मामले में यह नियम लंबी अवधि में काम करता है। असल में कोई भी निवेशक या विश्लेषक इस बात का सटीक अंदाजा नहीं लगा सकते कि बाजार कब चढ़ेगा और किस लेवल से इसमें गिरावट शुरू होगी। इसलिए बाजार का रुख कैसा भी हो, निवेश करते रहेंगे तो निश्चित तौर पर जोरदार कमाई होगी। यूनियन म्यूचुअल फंड के सीईओ जी प्रदीप कुमार आपको इक्विटी इन्वेस्टमेंट की बारीकियों को समझा रहे हैं.

पहली स्थिति: मान लीजिए कि एक निवेशक ने 2002 में सालाना 1 लाख रुपए का निवेश तब शुरू किया था, जब निफ्टी-50 निचले स्तर पर था। उसने लगातार 10 साल यानी 2011 तक निवेश जारी रखा। फिर 2011 से लेकर 2022 तक कोई निवेश नहीं किया। लेकिन पहले किया गया निवेश भी नहीं भुनाया। अभी उसकी 10 लाख रुपए की पूंजी बढ़कर 1.09 करोड़ रुपए हो गई है।

सबक: हालात कैसे भी हों, लंबे समय तक टिके रहने वाले निवेशकों को शेयर बाजार मालामाल कर देता है। शेयर बाजार के उतार-चढ़ाव को नजरअंदाज करते हुए धैर्य रखना इसके लिए जरूरी है।

दूसरी स्थिति: बाजार की बारीकियों से अनजान एक निवेशक ने 2002 में सालाना 1 लाख का निवेश तब शुरू किया था, जब निफ्टी-50 अपने सबसे ऊंचे स्तर पर था। उसने लगातार 10 साल यानी 2011 तक निवेश किया। फिर 2022 तक कोई निवेश नहीं किया। लेकिन पहले किया गया निवेश भी नहीं भुनाया। अभी उसकी भी 10 लाख की पूंजी बढ़कर 67.86 लाख रुपए हो गई है।

सबक: आप शेयर बाजार के सबसे बदकिस्मत निवेशक ही क्यों न हों, लेकिन अगर आपने लंबी अवधि के लिए निवेश कर रखा है तो अंत में आपको बाजार से कई गुना अधिक रिटर्न जरूर मिलेगा।

गिरावट का इंतजार न करें
निवेश के लिए बाजार नीचे आने का इंतजार न करें। बाजार जब चढ़ रहा हो तो कई निवेशक यह सोचकर शेयर नहीं खरीदते कि अभी निवेश महंगा साबित होगा। उन्हें लगता है कि बाजार जल्द गिर सकता है। ऐसे लोग दर्शक बने रह जाते हैं। उनके लिए निवेश का सही वक्त कभी नहीं आता।

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