मनमोहन का पतन

स्वतंत्रता दिवस 15 अगस्त की सुबह, दिल्ली में मूसलाधार बारिश हो रही थी. सुबह सात बजे प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह 17वीं सदी में बनी ऐतिहासिक धरोहर, लाल किला, की प्राचीर पर खड़े होकर बुलेट प्रुफ कांच के केबिन से राष्ट्रीय ध्वज लहराते हुए मौजूद जवानों तथा नागरिकों को सलामी दे रहे थे. परेड देखने के लिए आए स्कूली बच्चे, छतरियों के अपार समंदर के बीच हुड़दंग मचा रहे थे, मानो किसी मेले में आए हों. सेना और अर्धसैनिक बल के जवान बारिश में तरबतर, गीली सड़क पर कदम ताल कर रहे थे.

यह असामान्य रूप से एक उदास स्वतंत्रता दिवस था, इस उदासी का सबब महज मौसम का बिगड़ा हुआ मिजाज ही नहीं था बल्कि पिछले सात वर्षों में, अपनी सरकार की सफलताओं का कच्चा-चिट्ठा पेश करने के बाद, सिंह ने अपने आठवें स्वतंत्रता दिवस भाषण का अधिकांश समय देश के सामने खड़े संकटों को गिनवाने में बिताया. हाल ही में अंजाम दिया गया मुंबई का आतंकवादी हमला; लगातार जारी “नक्सलवादी चुनौतियां”; मुद्रास्फीति की दर और खाद्य पदार्थों की आसमान छूती कीमतें; भूमि अधिग्रहण द्वारा जनित तनावपूर्ण स्थितियां और इन सबसे बढ़कर, “भ्रष्टाचार की समस्या” – “एक ऐसी मुश्किल जिसके लिए किसी सरकार के पास कोई जादू की छड़ी मौजूद नहीं है.”

गुहा ने कहा, “मनमोहन सिंह बुद्धिमान, ईमानदार हैं और उनके पास सरकार में काम करने का चार दशकों से ज्यादा का अनुभव है, लेकिन दब्बूपन, लापरवाही और बौद्धिक बेईमानी उन्हें हमारे इतिहास का एक दुखद किरदार बनाकर पेश करेगी.”

भाषण के पश्चात सिंह को 24, अकबर रोड स्थित कांग्रेस मुख्यालय ले जाया गया, जहां पार्टी का अपना ध्वजारोहण कार्यक्रम चल रहा था. वैसे तो परंपरा के अनुरूप, कांग्रेस अध्यक्ष को ध्वजारोहण समारोह का संचालन करना होता है, लेकिन चूंकि पार्टी अध्यक्षा सोनिया गांधी उस समय अमेरिका के अस्पताल में अपने इलाज के सिलसिले में भर्ती विदेशी मुद्रा प्रधानमंत्री दलालों थीं, इसलिए यह उम्मीद की जा रही थी कि राहुल गांधी उनकी जगह ध्वज लहराएंगे. इसके बावजूद, उन्होंने यह कार्य वरिष्ठ कांग्रेसी नेता, मोतीलाल वोहरा के जिम्मे सौंप दिया, और पास खड़े सिंह तथा अन्य वरिष्ठ नेतागण ध्वज को सलामी देते हुए, झंडा ऊंचा रहे हमारा, विजयी विश्व तिरंगा प्यारा, गीत गाने लगे. अपनी ट्रेडमार्क नीली पगड़ी में मनमोहन सिंह और गृहमंत्री पी. चिदंबरम के अलावा सभी ने सरों पर गांधी टोपी पहन रखी थी – जो कभी स्वतंत्रता आंदोलन चलाने वाली इस पार्टी का प्रतीक चिन्ह हुआ करती थी, लेकिन यह अभी हाल ही में अन्ना हजारे का नवीनतम और सबसे प्रचलित प्रतीक बनकर उभरी थी.

विदेशी मुद्रा प्रधानमंत्री दलालों

Ashwani kumar

Ashwani kumar

कैट के आदेश के खिलाफ हाईकोर्ट पहुंचे अशोक खेमका

याचिका दाखिल करते हुए खेमका ने कहा कि उन्होंने केंद्र में सेवाएं देनी है ऐसे में उसे केंद्र में अतिरिक्त सचिव या समकक्ष पद पर नियुक्ति दी जाए।

हरियाणा में 'अपना घर' के सपने को हकीकत में बदलने की मुहिम

आवास बोर्ड हरियाणा प्रदेश के गरीबी रेखा से नीचे (बीपीएल) और आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग (ईडब्ल्यूएस) के लोगों को किफायती आवास मुहैया करवा रहा है।

पानीपत में 3 बच्चों की मौत का मामला : इंसाफ की गुहार लेकर पहुंचे लोगों को पुलिस ने दौड़ा-दौड़ा कर पीटा

आरोपियों की गिरफ्तारी(Arrest) न होने से परिजनों ने रोष जताया और पुलिस प्रशासन (Police Administration) पर मिलीभगत का आरोप लगाया। वहीं प्रदर्शनकारियों की भीड़ बढने पर आंदोलनकारियों ने सुबह करीब 11 बजे जीटी रोड की चंडीगढ व दिल्ली जाने वाले लेनों पर बूंदाबांदी के बीच यातायात जाम कर दिया तो पुलिस ने वाटर कैनन मशीन से पानी की बौछारें की और उसके बाद जमकर लाठीचार्ज किया।

भूपेंद्र सिंह हुड्डा बोले, किसानों को तेल के दाम में राहत दे सरकार

पूर्व मुख्यमंत्री (Former chief minister) ने तेल के दाम कम करने की मांग उठाते हुए कहा अंतर्राष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल की कीमत 2004 के स्तर पहुंच चुकी हैं। लेकिन, सरकार टैक्स पर टैक्स लगाकर इसे विदेशी मुद्रा प्रधानमंत्री दलालों महंगा करने में लगी हैं।

कृषि मंत्री जेपी दलाल बोले, राजस्थान में टिड्डी दल पर कंट्रोल न होने से बार-बार हरियाणा में हमला हो रहा

कृषि मंत्री ने कहा किसानों को घबराने की जरूरत नहीं है ड्रोन की व्यवस्था कर ली गई है जरूरत पड़ी तो हेलीकॉप्टरों के जरिए भी करवाया छिड़काव जाएगा। वहीं उन्होंने कहा भारत सरकार ने भी एक एडवाइजरी जारी कि है कि इस साल लगातार टिड्डियों के हमले होते रहेंगे।

जींद : गायब व्यक्ति का शव बरसाती नाले में मिला

आशंका जताई जा रही है सुरेश का पांव फिसल गया और वह बरसाती नाले में गिर गया। जिससे उसकी मौत हो गई। फिलहाल पुलिस मामले की जांच में जुट गई है।

Om Prakash Chautala ने अजय चौटाला को लेकर दिया फिर बड़ा बयान

जो हमे छोड़कर गए थे वो हमे परिवार मान नही रहे,वो ताऊ देवीलाल को दादा मानने की बजाय रामकुमार गौतम को दादा मान रहे थे अब वो गौतम भी उनको छोड़कर भाग गया।

जयंतीलाल भंडारी का लेख : बढ़ा विदेशी मुद्रा भंडार

इस समय हमारे देश के विदेशी मुद्रा भंडार के बढ़ने की कई और वजह भी हैं। चूंकि भारत कच्चे तेल की अपनी जरूरतों का 80 से 85 प्रतिशत आयात करता है और इस पर विदेशी मुद्रा प्रधानमंत्री दलालों सबसे अधिक विदेशी मुद्रा खर्च होती है। ऐसे में कच्चे तेल की कीमतों में कमी लाभप्रद रही है। विदेशी मुद्रा प्रधानमंत्री दलालों देश में कोविड-19 के कारण मार्च 2020 से लागू लॉकडाउन की वजह से जून 2020 तक पेट्रोल-डीजल की डिमांड कम हो गई थी, इसके अलावा कच्चे तेल की कीमतों में भारी गिरावट ने भी विदेशी मुद्रा भंडार के व्यय में कमी की है

प्रमोद भार्गव का लेख : ताकतवर हुई वायुसेना

राफेल से वायुसेना की मारक क्षमता बढ़ेगी। दरअसल राफेल अनेक खूबियों से भरा है। इसकी सबसे बड़ी विशेषता यह है कि यह एक मिनट के मामूली समय में 60,000 किमी की ऊंचाई पर न केवल पहुंच जाता है, बल्कि जरूरत पड़ने पर परमाणु हथियारों से हमला भी करने में सक्षम है। जब चीन वास्तविक नियंत्रण रेखा को लांघने के प्रयास में है, तब ये विमान वायु सैनिकों का मनोबल बढ़ाएंगे। मिसाइलों से लैस ऐसे विमान फिलहाल चीन और पाकिस्तान के पास नहीं हैं।

आलोक मित्तल बने हरियाणा के सीआईडी प्रमुख

प्रदेश सरकार की ओर से बृहस्पतिवार को राव की जगह मित्तल को यह जिम्मा सौंपा जाने का आर्डर जारी हो गया। वे वे मौजूदा सीआईडी प्रमुख एडीजीपी अनिल कुमार राव की जगह लेंगे जो इसी माह 31 को रिटायर हो विदेशी मुद्रा प्रधानमंत्री दलालों विदेशी मुद्रा प्रधानमंत्री दलालों रहे हैं।

Karnal : बारिश से मकान गिरने से बच्ची की मौत, तीन लोग घायल

करनाल जिले में तेज बारिश गांव कैरवाली में एक परिवार पर कहर बनकर टूटी। इस हादसे में पांच साल की आशू की मौत हो गई जबकि ओमपाल, प्रियंका और सूरज घायल हो गए।

भिवानी नगर परिषद का ईओ 35 हजार की रिश्वत लेते गिरफ्तार

हिसार विजिलेंस (Hisar Vigilance) की टीम ने छापेमारी करके आरोपित को पकड़ा है। यह कार्रवाई शहर के एक ठेकेदार द्वारा की गई शिकायत (Complaint) के आधार पर की है।

''रुपया, तेल और राजनीतिक रार, बाजार में हाहाकार के लिए जिम्मेदार''

नयी दिल्ली : कच्चे तेल के दाम, घरेलू राजनीतिक परिस्थितियां, वैश्विक स्तर पर ब्याज दरें और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर व्यापार को लेकर घटनाक्रम निकट भविष्य में शेयर बाजारों को प्रभावित करेंगे. विशेषज्ञों ने यह राय जतायी है. रुपये की कमजोरी, कच्चे तेल की ऊंची कीमतों, विदेशी कोषों की निकासी तथा अमेरिका और चीन के बीच व्यापार को लेकर तनाव बढ़ने से हाल के समय बाजार की धारणा प्रभावित हुई है. विशेषज्ञों का कहना है कि निवेशकों की निगाह अब इस साल कई राज्यों में होने वाले विधानसभा चुनाव पर रहेगी.

सेंट्रम ब्रोकिंग के वरिष्ठ उपाध्यक्ष एवं शोध (संपदा) प्रमुख जगन्नधाम तुनुगुंटला ने कहा कि भारतीय बाजार को इस समय कई मोर्चों पर समस्याओं से जूझना पड़ रहा है. रुपये अपने सर्वकालिक निचले स्तर पर है, तो बांड प्राप्ति बढ़ी तथा कच्चे तेल के दाम ऊंचाई विदेशी मुद्रा प्रधानमंत्री दलालों पर हैं. उन्होंने कहा कि इस साल कई राज्यों में विधानसभा चुनाव तो 2019 में लोकसभा चुनाव होने हैं. इन सब कारणों से भारतीय बाजार प्रभावित रहेंगे. हालांकि, बंबई शेयर बाजार का 30 शेयरों वाला सेंसेक्स इस साल नौ फीसदी चढ़ा है. यह अभी 37,121 अंक पर चल रहा है.

कोटक सिक्योरिटीज की उपाध्यक्ष (शोध) टीना विरमानी ने कहा कि घरेलू मोर्चे पर कंपनियों की आमदनी तथा विभिन्न क्षेत्रों में मांग में सुधार से बाजार की धारणा तय होगी. वैश्विक स्तर पर देखा जाये, तो कच्चे तेल की कीमतों में गिरावट काफी महत्वपूर्ण होगी. सैमको सिक्योरिटीज एंड स्टॉकनोट के संस्थापक एवं सीईओ जिमीत मोदी ने कहा कि शेयर बाजारों के लिए वैश्विक स्तर पर ब्याज दरें, अंतरराष्ट्रीय व्यापार विवाद, मुद्रा का उतार चढ़ाव और मुद्रास्फीति को लेकर संभावना महत्वपूर्ण होगी. इस साल राज्यों के चुनाव बाजार के लिए महत्वपूर्ण घटनाक्रम होगा, जिससे बाजारों की दिशा तय होगी.

जियोजीत फाइनेंशियल सर्विसेज के शोध प्रमुख विनोद नायर ने कहा कि विदेशी मुद्रा प्रधानमंत्री दलालों सबसे पहले वैश्विक वित्तीय बाजारों में स्थिरता आनी चाहिए. व्यापार और मुद्रा के उतार-चढ़ाव पर अंकुश लगना चाहिए. यदि यही स्थिति कायम रहती है, तो व्यापार और मुद्रा युद्ध का असर अगले 12 महीने तक दिखायी देगा.

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बीजेपी ने जारी किया ”दिल्ली का ठग पोस्टर”, एमसीडी चुनाव से पहले गरमाया माहौल

दिल्ली नगर निगम चुनाव को लेकर सभी पार्टियों ने ऐड़ी चोटी का जोर लगा दिया है। पार्टियों में आरोप- प्रत्यारोप का दौर पुराना है और जब मौका चुनाव का है तो सभी राजनीतिक पार्टियों ने विपक्षी पार्टी को घेरना भी शुरू कर दिया है। साथ ही एक दूसरे की कमियों को उजागर करने में जुट गए हैं। इस एमसीडी चुनावों मे भी ऐसा ही देखने को मिल रहा है। जब सभी पार्टियां खुद को बेहतर बतानें में जुटी है। इसी को लेकर बीजेपी ने आम आदमी पार्टी के खिलाफ एक और पोस्टर जारी किया है। जिसमें अरविंद केजरीवाल को ”दिल्ली का ठग” बताया गया है।

केजरीवाल सहित कई आप नेताओं के चेहरे शामिल है। इस पोस्टर में उन्हें महाठग की संज्ञा दी है। वहीं इस पोस्टर के जरिये केजरीवाल को भ्रष्टाचार का मुखिया बताया गया है। दिल्ली बीजेपी के पूर्व अध्ययक्ष ने एक अन्य पोस्टर जारी करते हुए लिखा है ”राजनीति में बदलाव की बात करने वाले बन बैठे हैं टिकट के दलाल”।

आपको बता दें बीते बुधवार ACB ने टिकट में पैसों के लेन देन को लेकर आम आदमी के विधायक के साले सहित 3 लोगों की गिरफ्तारी की है। इससे पहले भी बीजेपी ने आम आदमी पार्टी के खिलाफ कई पोस्टर विदेशी मुद्रा प्रधानमंत्री दलालों जारी किये थे। जिसमे ”लूटेरा” पोस्टर काफी वायरल हुआ था। जिसमें मनीष सिसोदिया को बाइक पर सवार लूटेरा बताया गया था। इसी को लेकर राष्ट्रीय प्रवक्ता पूनावाला ने आप पार्टी पर कई गंभीर आरोप लगाते हुए कहा कि “हमने ‘दिल्ली का ठग’ फिल्म देखी है। अब ‘दिल्ली के ठग’ हैं आम आदमी पार्टी की बदौलत अब ये रील लाइफ से रियल लाइफ में आ गई है। ये लोग ‘लुटाई, उघाई, कमाई और दिल्ली की बर्बादी’ में शामिल हैं, इसलिए दिल्ली के लोग उन्हें दिल्ली के ठग कह रहे हैं।”

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