हालांकि, अभी तक यह देखना बाकी है कि क्या यह स्थिति लंबे समय तक जारी रहती है या नहीं. अर्थव्यवस्था की खराब हालत के बीच भी स्टॉक मार्केट में इतनी तेजी को लेकर चिंता जाहिर की है. फाइनेंशियल स्टेबिलिटी इंडेक्स मार्च 2021 के 115.4 की तुलना में मामूली बढ़ोतरी के साथ अप्रैल 2021 में 116.2 पर है.
आम लोग अचानक क्यों दिखाने लगे हैं शेयर बाजार में दिलचस्पी? ये रहा जवाब
पिछले वित्त वर्ष के अंतिम दो महीने के दौरान घरेलू शेयर बाजार में खुदरा निवेशकों की संख्या में बड़ी तेजी देखने को मिली है. एसबीआई की एक रिपोर्ट से इस बारे में जानकारी भारत में कितने शेयर मार्केट के बाजार हैं? मिलती है. फरवरी और मार्च 2021 के दौरान शेयर बाजार में 44.7 लाख नये खुदरा निवेशक जुड़े हैं. वित्त वर्ष 2021 में व्यक्तिगत निवेशकों की संख्या बढ़कर 142 लाख पर पहुंच गई है. इसमें से भारत में कितने शेयर मार्केट के बाजार हैं? CDSL में 122.5 लाख और NSDL में 19.7 लाख नये अकाउंट खुले हैं. NSE के आंकड़ों से पता चलता है कि स्टॉक एक्सचेंज पर टोटल टर्नओवर मार्च 2020 के 39 फीसदी से बढ़कर 45 फीसदी पर आ गया है.
कोरोना वायरस महामारी और इसकी वजह से लॉकडाउन के बाद वित्त वर्ष 2021 की पहली तिमाही में लोगों के पास बचत बढ़ा है. एसबीआई की रिपोर्ट में कहा गया है कि दूसरी तिमाही के दौरान भी इसमें इजाफा हुआ है. इस रिपोर्ट में कहा गया, ‘ हालांकि, आंकड़ों से पता चलता है कि वित्त वर्ष 2021 की पहली तिमाही में कुल 17,225 करोड़ रुपये की करेंसी सर्कुलेशन में थी. लेकिन वित्त वर्ष 2021 की तीसरी और चौथी तिमाही में कुल करेंसी सर्कुलेशन क्रमश: 80,501 करोड़ रुपये और 95,181 करोड़ रुपये पर है.’
एसबीआई की इस रिपोर्ट की कुछ खास बातें:
1. छोटी बचत योजनाओं के लिए ब्याज दरों में लगातार कटौती की वजह से स्टॉक मार्केट भारत में कितने शेयर मार्केट के बाजार हैं? में निवेश बढ़ा है.
2. रेपो रेट घटकर 4 फीसदी होने के बाद एसबीआई की एफडी दरें 2.9 फीसदी से लेकर 5.4 फीसदी के बीच है. इसके अलावा छोटी बचत योजनाओं की ब्याज दरें में भी कम है. उदाहरण के तौर पर देखें तो सुकन्या समृद्धि योजना पर ब्याज दरें 7.40 फीसदी, सीनियर सिटीजन सेविंग्स स्कीम की ब्याज दरें 7.4 फीसदी, पब्लिक प्रोविडेंट फड 7.1 फीसदी और नेशनल सेविंग्स सर्टिफिकेट पर ब्याज दरें घटकर 6.8 फीसदी पर आ गई है.
3. वैश्विक लिक्विडिटी में बढ़ोतरी भी इसकी एक वजह है. वित्त वर्ष 2021 विदेशी संस्थागत निवेश के आंकड़ों से इस बारे में जानकारी मिलती है. पिछले एक साल में यह करीब 36.18 अरब डॉलर के पार जा चुका है.
भारत में कितने शेयर मार्केट के बाजार हैं?
- Post last modified: September 22, 2020
- Post author: Yogesh Singh
- Post category: Share Market
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हेलो दोस्तों आज हम Detail में जानेगे की भारत में शेयर बाजार कब खुलता है और कब बंद होता है (Stock Market Timings in India) अगर आपने हमारे शेयर मार्किट क्या होता है पोस्ट नहीं देखी तो आप देख सकते है |
अक्सर भारत में लोग शेयर बाजार के समय के बारे में काफी भ्रमित रहते हैं तो आज हम आपको भारत में कितने शेयर मार्केट के बाजार हैं? विस्तार में शेयर बाजार के खुलने और बंद होने के समय बारे में बतायेंगे |
भारत में शेयर बाजार का समय – Stock market timings in India
भारत में दो प्रमुख स्टॉक एक्सचेंज है –National Stock Exchange (NSE) और Bombay Stock Exchange (BSE) हैं। हालांकि, NSE और BSE दोनों exchanges का एक ही समय है।
भारतीय शेयर बाजार सप्ताह के अंत में, यानी शनिवार और रविवार को बंद रहते है और इसके अलावा, यह राष्ट्रीय और स्टॉक एक्सचेंज की छुट्टियों पर भी बंद रहते है | स्टॉक एक्सचैंजेस की छुटियाँ आप यहाँ देख सकते है |
भारत में शेयर बाजार के समय को तीन सत्रों में विभाजित किया जाता है
- Pre-open Session (प्री-ओपन सत्र)
- Normal Session (सामान्य सत्र)
- Post-closing Session (समापन के बाद का सत्र)
Note : बाजार में भारी अस्थिरता से बचने के लिए Pre-open Session यानि पूर्व-खुला सत्र रखा जाता है और यह एक संतुलन मूल्य बनाने के लिए ताकि बाजार को अपनी शुरुआती कीमत मिल सके, आप यहां पा सकते हैं कि एनएसई कैसे अपने शुरुआती मूल्य की गणना करता है।
Pre-open Session को आगे तीन सत्रों में विभाजित किया जाता है –
- सुबह 9:00 से 9:08 बजे (Order Entry Session -आदेश प्रवेश सत्र):
-
भारत में कितने शेयर मार्केट के बाजार हैं?
- इस समय में, कोई भी शेयर खरीद और बेच सकता है।
- आप Orders में परिवर्तन या उसको रद्द भी कर सकते हैं।
Special Trading Day
हालांकि, राष्ट्रीय छुट्टियों पर शेयर बाजार बंद रहता है, लेकिन यह दिवाली त्योहार के दौरान कुछ घंटों के लिए खुला रहता है, जिसे ‘Mahurat Trading‘ के रूप में जाना जाता है। इस विशेष दिन के लिए ट्रेडिंग घंटे का समय दिवाली से कुछ दिन पहले ही तय किया जाता हैं।
दोस्तों आज हमने इस पोस्ट में सीखा की भारतीय शेयर का समय क्या है (Stock market timings in India) आशा है आपको यह पोस्ट पसंद आयी होगी अगर आपका कोई सवाल या सुझाव है तो आप हमे कमेंट कर सकते है |
शेयर मार्केट का सबसे बड़ा खिलाड़ी
इंडियन वॉरेन बुफे के नाम से प्रसिद्ध राकेश झुनझुनवाला की निजी संपदा शेयर मार्केट के बढ़ते दौर में हर 7 दिन में औसतन 59 करोड़ बढती है.
भारतीय शेयर बाजार के किंग कहे जाने वाले राकेश झुनझुनवाला एक अच्छे इंसान होने के साथ-साथ बेहतर निवेशक और बहुत ही फुर्तीले व्यापारी भी हैं। इंडियन वॉरेन बुफे के नाम से प्रसिद्ध राकेश झुनझुनवाला की निजी संपदा शेयर मार्केट के बढ़ते दौर में हर 7 दिन में औसतन 59 करोड़ बढ़ती है। भारत में कितने शेयर मार्केट के बाजार हैं? निवेशक इन्हें शेयर मार्केट में अपना गुरु मानते हैं। फोर्ब्स द्वारा 2017 में निकाली गयी अमीरों की लिस्ट में राकेश झुनझुनवाला भारत के 53वें सबसे आमिर व्यक्ति हैं।
इन्वेस्टमेंट जगत में राकेश झुनझुनवाला की पकड़ इतनी मजबूत है कि कई अखबार वालों ने उन्हें अनेक नामों की उपाधि दे डाली है, जैसे इंडिया टुडे पत्रिका भारत में कितने शेयर मार्केट के बाजार हैं? ने "Pin-up Boy of the Current Bull Run" और इकोनॉमिक टाइम्स पत्रिका ने "Pied Piper of Indian Bourses" कहकर सम्मानित किया है।
राकेश शेयर खरीदते वक्त “बाय राइट एंड होल्ड टाइट” थ्योरी फॉलो करना पसंद करते हैं। उनका मानना है कि बाजार की तेजी में सबका फायदा और मंदी में सबका नुकसान हो ये जरूरी नहीं है। वो कहते हैं कि ‘मैं अपने काम को एन्जॉय करता हूं, उसे अपने ऊपर कभी हावी नही होने देता।'
शेयर मार्केट के बाप कहे जाने वाले राकेश झुनझुनवाला का जन्म 5 जुलाई 1960 को भारत में कितने शेयर मार्केट के बाजार हैं? भारत में कितने शेयर मार्केट के बाजार हैं? मुंबई शहर में हुआ। उनके पिता आयकर विभाग में ऑफिसर थे। अपने पिताजी को शेयर बाजार में इन्वेस्ट करते देख काफी कम उम्र में ही राकेश ने भी बाजार को समझना शुरू कर दिया था। सिर्फ 15-16 वर्ष की उम्र में ही वे शेयर मार्केट के उतार-चढ़ाव को बारीकियों से परखने में लग गये। राकेश अक्सर अपने पिता से शेयर मार्केट के भाव में उतार-चढ़ाव के प्रति जानने के लिए जिज्ञासु रहते थे, उनके पिता ने कहा “ अख़बार पढ़ा करो और जिस कंपनी के बारे में खबर छपी होगी उसके भाव में उतार-चढ़ाव आएगा ”। शेयर मार्केट को समझने के लिए राकेश को यह पहली सीख मिली।
राकेश ने 2002-03 में टाइटन कम्पनी के 6 करोड़ शेयरो को 3 रुपये प्रति शेयर के हिसाब से ख़रीदा और बाद में उन शेयरों कि कीमत 390 रुपये प्रति शेयर हो गई। जिसके कारण उनका निवेश 2100 भारत में कितने शेयर मार्केट के बाजार हैं? करोड़ के पार चला गया। राकेश झुनझुनवाला की 29 शेयरों में बड़ी हिस्सेदारी है। मौजूदा शेयर भाव के अनुसार इसकी वैल्यु करीब 4436 करोड़ रुपए है। झुनझुनवाला के पोर्टफोलियो में टाइटन, ल्युपिन, क्रिसिल, रैलिस इंडिया, डेल्पा कॉर्प, एप्टेक, जियोमैट्रिक, एनसीसी, प्राज इंडस्ट्री, फर्स्टसॉर्स सॉल्युशंस, एस्कॉर्ट जैसी कंपनियों के शेयर है।
राकेश ने अपनी CA की पढाई पूरी कर जब पिताजी से स्टॉक मार्केट में जाने की बात की तो उन्होंने कोई आपत्ति नही जताई लेकिन उन्होंने पूंजी देने से साफ़ मना कर दिए और दोस्तों से भी पैसा मांगने की इजाज़त नही दी। जब वे शेयर मार्केट में आये तो उनके पास पैसे की बहुत किल्लत थी, उनके पास अपनी बचाई हुई धन राशि सिर्फ हजार रुपए थे, जिससे उन्होंने अपना पहला निवेश 1985 में टाटा-टी के शेयर को खरीद कर किया था। इसमें उन्होंने अपनी मेहनत और काबिलियत दिखाते हुए 1986 में पांच लाख रुपए का बड़ा मुनाफा कमाया। इसके बाद झुनझुनवाला ने कभी पीछे मुड़कर नहीं देखा। 10 सितंबर 2014 तक उनकी नेट वर्थ 190 करोड़ डॉलर यानी 11,970 करोड़ रुपए पर पहुंच चुकी थी। उसके बाद 1986 से 1989 के बीच राकेश ने 20 से 25 लाख रूपये का लाभ कमाया।
UK को पीछे छोड़ने के करीब: मार्केट कैप के लिहाज से भारतीय शेयर बाजार छठें नंबर पर, फ्रांस को पीछे छोड़ा
शेयर बाजार की लगातार तेजी ने मार्केट कैप के मामले में भारतीय बाजार को छठें नंबर पर ला दिया है। अब भारत दुनिया के बाजारों के मार्केट कैप की तुलना में छठें स्थान पर है। इसने गुरुवार को भारत में कितने शेयर मार्केट के बाजार हैं? फ्रांस को पीछे छोड़ दिया।
भारत का मार्केट कैप 260.80 लाख करोड़ रुपए
भारत का मार्केट कैप 260.80 लाख करोड़ रुपए है। डॉलर टर्म में यह 3.54 ट्रिलियन डॉलर है। एक ट्रिलियन डॉलर मतलब 73.19 लाख करोड़ रुपए। फ्रांस के बाजार का मार्केट कैप 3.39 ट्रिलियन डॉलर है। दुनिया के टॉप बाजारों में अमेरिकी बाजार पहले नंबर पर है। इसका मार्केट कैप 50.99 ट्रिलियन डॉलर है। जबकि चीन का बाजार 12.41 ट्रिलियन डॉलर के साथ दूसरे नंबर पर है।
Stock Market Holiday October 2022: त्योहारों के चलते 3 दिन नहीं होगी BSE-NSE पर ट्रेडिंग, कब-कब रहेगी स्टॉक मार्केट की छुट्टी?
अक्टूबर में त्योहारों के चलते 3 दिन स्टॉक मार्केट में कारोबार बंद रहेंगे.
Stock Market Holiday October 2022: अक्टूबर का महीना त्योहारों का महीना है, ऐसे में अक्टूबर में त्योहारों के चलते 3 दिन स्टॉक मार्केट में कारोबार बंद रहेंगे. बता दें कि शनिवार और रविवार को आमतौर पर स्टॉक मार्केट बंद ही रहते हैं. अगले महीने शनिवार-रविवार को छोड़कर 3 और दिन ऐसे हैं, जब स्टॉक मार्केट में कारोबार बंद रहेंगे. बता दें कि अक्टूबर में बड़े त्योहारों के चलते ना सिर्फ स्टॉक मार्केट, बल्कि बैंकों व सरकारी-निजी कंपनियों में भी कई छुट्टियां रहती हैं. आइए जानते हैं कि अक्टूबर महीने में स्टॉक मार्केट कब-कब बंद रहेंगे.
कब-कब रहेगी स्टॉक मार्केट की छुट्टी
BSE और NSE की वेबसाइट के मुताबिक इन 3 दिनों में स्टॉक मार्केट में कारोबार बंद रहेंगे.
- 5 अक्टूबर (बुधवार) को दशहरा
- 24 अक्टूबर (सोमवार) को दिवाली / लक्ष्मी पूजा
- 26 अक्टूबर (बुधवार) को दिवाली बलिप्रतिपदा
दिवाली के दिन होगी मुहूर्त ट्रेडिंग
दिवाली के दिन यानी 24 अक्टूबर (सोमवार) को वैसे तो बाजार बंद रहेंगे पर इस दिन मुहूर्त ट्रेडिंग आयोजित की जाएगी. हालांकि, NSE-BSE की वेबसाइट के मुताबिक, मुहूर्त भारत में कितने शेयर मार्केट के बाजार हैं? ट्रेडिंग के समय की जानकारी बाद में जारी की जाएगी. इसके अलावा, 2 अक्टूबर को महात्मा गांधी जयंती है. हालांकि इस दिन रविवार भी पड़ रहा है. इसके चलते, 2 अक्टूबर, रविवार को भी बाजार बंद रहेंगे.
Stocks in News: HEG, IndiGo, Inox, Fino Payments Bank समेत ये शेयर दिखाएंगे एक्शन, इंट्राडे में रखें नजर
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