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मुंबई 17 दिसंबर, 2021: आईसीआईसीआई बैंक ने पिछले साल लॉन्च किए गए डिजिटल प्लेटफॉर्म ’कॉर्पकनेक्ट’ पर 70 अग्रणी कंपनियों को शामिल करने की घोषणा है ताकि कॉर्पाेरेट्स अपने चैनल पार्टनर्स को तत्काल भुगतान या उनसे संग्रह कर सके। अपनी तरह की अनोखी पहल ’कॉर्पकनेक्ट’ डीलर फाइनेंस के लिए आपूर्तिकर्ताओं या वेंडर्स को फाइनेंस/रिवर्स फैक्टरिंग जैसे तत्काल और संपार्श्विक मुक्त डिजिटल चैनल वित्तपोषण समाधान भी प्रदान करता है।
इन कंपनियों की सूची में आर्सेलर मित्तल निप्पॉन स्टील इंडिया लिमिटेड, एशियन पेंट्स लिमिटेड, ब्लू स्टार लिमिटेड, क्रॉम्पटन ग्रीव्स कंज्यूमर इलेक्ट्रिकल्स लिमिटेड, एक्साइड इंडस्ट्रीज लिमिटेड, हीरो साइकिल्स लिमिटेड, हिंदुस्तान यूनिलीवर लिमिटेड, कंसाई नेरोलैक पेंट्स लिमिटेड, नायरा एनर्जी लिमिटेड, ओरिएंट इलेक्ट्रिक लिमिटेड, सोमानी सिरेमिक्स लिमिटेड, वी-गार्ड इंडस्ट्रीज लिमिटेड और वोल्टास लिमिटेड (वर्णमाला क्रम में) शामिल हैं। इनमें से कई कंपनियां ’एसएंडपी बीएसई 200 इंडेक्स’ की सदस्य हैं और ये एफएमसीजी, कंज्यूमर ड्यरेबल प्रोडक्ट्स, ऑटो सहायक उत्पाद, स्टील, तेल, सीमेंट, कपड़ा, पेंट, टाइल / सैनिटरी वेयर, पाइप, रसायन, इंजीनियरिंग सामान और कृषि वस्तुओं जैसे विभिन्न उद्योगों का प्रतिनिधित्व करती हैं।
’कॉर्पकनेक्ट’ के माध्यम से, कंपनियां सीधे बैंक के सिस्टम के साथ जुड़ सकती हैं और बैंकिंग समाधान जैसे चैनल फाइनेंसिंग, वेंडर्स बिल / चालान छूट, देय वित्त और उनके ईआरपी सिस्टम के भीतर फैक्टरिंग को एम्बेड कर सकती हैं। यह या तो बैंक के साथ एपीआई इंटीग्रेशन के साथ या होस्ट-टू-होस्ट एसएफटीपी (सिक्योर फाइल ट्रांसफर प्रोटोकॉल) सॉल्यूशन के साथ किया जा सकता है। इन अत्याधुनिक तकनीकों के उपयोग से इंटीग्रेशन का समय काफी कम हो जाता है, जिससे कंपनियों की परिचालन और वित्तीय क्षमता में उल्लेखनीय वृद्धि होती है।
इस पर बोलते हुए आईसीआईसीआई बैंक में ग्लोबल क्लाइंट्स ग्रुप के हैड श्री अनुज भार्गव ने कहा, ‘आईसीआईसीआई बैंक अपने ग्राहकों के लिए नए और बेहतर डिजिटल बैंकिंग समाधान लाने के लिए नवीनतम तकनीक का लाभ उठाने में विश्वास करती है। अपनी नीति के अनुरूप हमने पिछले साल कंपनियों और उनके चैनल भागीदारों को दिन-प्रतिदिन के आधार पर निर्बाध संग्रह / भुगतान, सुलह और वित्तपोषण की सुविधा के साथ ’कॉर्पकनेक्ट’ लॉन्च किया। हमें यह बताते हुए खुशी हो रही है कि हमारे पास ’कॉर्पकनेक्ट’ पर 70 प्रमुख कॉर्पाेरेट शामिल हो गए हैं।
’कॉर्पकनेक्ट’ कुछ हजार करोड़ रुपए के औसत मासिक लेनदेन करता है। हम मानते हैं कि ’कॉर्पकनेक्ट’ में सभी हितधारकों को एक मंच पर लाकर और उन्हें तत्काल, डिजिटल और निर्बाध समाधान प्रदान करके दस्तावेज के भार को घटाकर आपूर्ति श्रृंखला प्रबंधन को सरल बनाने की अपार क्षमता है।’
कंपनियों को ’कॉर्पकनेक्ट’ से मिलने वाले लाभः
आईसीआईसीआई डेबिट कार्ड ईएमआई बकाया बिल का भुगतान कैसे करें
आमतौर पर, डेबिट कार्डधारक ईएमआई भुगतान का उपयोग करके लेनदेन नहीं कर सकते हैं। केवल क्रेडिट कार्ड धारक ऐसा कर सकते हैं। लेकिन आईसीआईसीआई बैंक अपने चुनिंदा बचत खाताधारकों को बचत खाते में कोई पैसा लिंक किए बिना डेबिट कार्ड पर ईएमआई का लाभ उठाने की अनुमति देता है।
हालाँकि, आप अभी तक अपने ICICI डेबिट कार्ड का उपयोग करके केवल Amazon और Flipkart उत्पादों को EMI पर खरीद सकते हैं।
डेबिट कार्ड ईएमआई पर कुछ भी खरीदना आसान है। सबसे पहले, आपको यह जांचना होगा कि आप इस ऑफ़र का लाभ उठाने के योग्य हैं या नहीं।
आप ऐसा कर सकते हैं इस पृष्ठ पर जा रहे हैं अमेज़न पर या एसएमएस भेजकर: डीसीईएमआई 5676766 पर। आपके बैंक खाते से जुड़े मोबाइल नंबर से।
मासिक भुगतान के लिए देय राशि स्वचालित रूप से आपके कार्ड से जुड़े आपके बचत खाते से डेबिट हो जाएगी।
मुश्किल हिस्सा बिल का भुगतान कर रहा है अगर किसी कारण से ऑटो-डेबिट काम नहीं करता है।
यह कैसे काम करेगा इसका परीक्षण करने के लिए, मैंने फ्लिपकार्ट के साथ इसका परीक्षण किया।
मैंने अपने आईसीआईसीआई डेबिट कार्ड का उपयोग करके फ्लिपकार्ट पर 25,999 का ऑर्डर दिया। और मैं ईएमआई के लिए भुगतान करना चुनता हूं।
2 दिनों के बाद मैंने ऑर्डर रद्द कर दिया और आईसीआईसीआई कस्टमर केयर से मेरे डेबिट कार्ड पर ईएमआई रद्द करने के लिए कहा।
मेरे मामले में, रद्दीकरण जल्दी नहीं था। रद्दीकरण को संसाधित होने में 3 सप्ताह का समय लगा। लेकिन वैसे भी, ईएमआई रद्द हो गई, लेकिन मुझे अभी भी प्रसंस्करण शुल्क और रद्दीकरण शुल्क 866.37 रुपये का भुगतान करना पड़ा।
ऑटो-डेबिट सुविधा काम करती है या नहीं, इसका परीक्षण करने के लिए मैंने एक महीना छोड़ दिया। आश्चर्यजनक रूप से, ऐसा नहीं हुआ और मासिक ब्याज के कारण मेरे डेबिट कार्ड ईएमआई खाते पर मेरा कुल क्रेडिट बढ़कर 913.23 रुपये हो गया।
तो, इस प्रकार मैंने आईसीआईसीआई डेबिट कार्ड के लिए अपने ईएमआई देय भुगतान का भुगतान किया।
चरण 1. अपने आईसीआईसीआई इंटरनेट बैंकिंग खाते में लॉगिन करें
अपने आईसीआईसीआई इंटरनेट बैंकिंग खाते में लॉग इन करें। आप इसी प्रक्रिया का पालन करते हुए आईसीआईसीआई आईमोबाइल का उपयोग करके मोबाइल ऐप के माध्यम से भी कर सकते हैं।
मैं वेब ब्राउज़र पर आईसीआईसीआई इंटरनेट बैंकिंग पोर्टल का उपयोग करूंगा।
वेबसाइट की पुष्टि करने के बाद हमेशा अपने इंटरनेट बैंकिंग खातों में लॉग इन करें। अपना लॉगिन विवरण दर्ज करने से पहले एक HTTPS कनेक्शन और हरे रंग के पैडलॉक के लिए ब्राउज़र एड्रेस बार की जाँच करें।
चरण 2: बिल भुगतान मेनू पर जाएं
नेविगेशन बार में "भुगतान और स्थानान्तरण" लिंक पर क्लिक करके भुगतान बिल मेनू पर जाएं
चरण 3: डेबिट कार्ड ईएमआई खाता संख्या दर्ज करें
फिर मेनू से क्रेडिट कार्ड विकल्प चुनें।
बिलर विवरण दर्ज करें विकल्प के तहत, आईसीआईसीआई क्रेडिट कार्ड चुनें।
के अंतर्गत ग्राहक पहचान, विवरण अपना डेबिट कार्ड ईएमआई खाता संख्या दर्ज करें।
आप अपनी ईमेल आईडी पर प्राप्त होने वाले मासिक बिल पर अपना डेबिट कार्ड ईएमआई खाता संख्या पा सकते हैं।
पुष्टिकरण अनुभाग में, "कुल देय राशि" फ़ील्ड में देय राशि दर्ज करें। और सभी व्यक्तिगत विवरण ध्यान से भरें। जल्दबाजी में कोई गलती न करें।
अगला बटन पर क्लिक करें और भुगतान की पुष्टि करें।
आपके द्वारा पहली बार यह भुगतान करने के बाद, त्वरित भुगतान विकल्प उसी "वेतन बिल" मेनू के अंतर्गत दिखाई देगा। अगली बार से आपको ये सभी विवरण दर्ज नहीं करने होंगे।
इस तरह आप आईसीआईसीआई डेबिट कार्ड ईएमआई का भुगतान करते हैं।
मैंने यह भी पुष्टि की है कि भुगतान बैंक द्वारा प्राप्त किया गया है और हाँ, यह काम करता है। यह देखते हुए कि आप निश्चित रूप से गलतियाँ नहीं करते हैं।
आईसीआईसीआई बैंक ऑनलाइन सीमा शुल्क के भुगतान की सुविधा ग्राहकों को करता है प्रदान
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NEW DELHI-आईसीआईसीआई बैंक ने अपने ग्राहकों के लिए खुदरा और कॉर्पोरेट दोनों के अंतर्गत डिजिटल रूप से सीमा शुल्क का भुगतान करने की सुविधा शुरू करने की घोषणा की है।
कॉर्पोरेट ग्राहक बैंक के कॉर्पोरेट इंटरनेट बैंकिंग (CIB)और मोबाइल बैंकिंग ऐप InstaBIZ के माध्यम से सीमा शुल्क का भुगतान कर सकते हैं, जबकि खुदरा ग्राहक बैंक के खुदरा इंटरनेट बैंकिंग प्लेटफॉर्म के माध्यम से ऐसा कर सकते हैं।
ग्राहक भारतीय सीमा शुल्क इलेक्ट्रॉनिक गेटवे (ICEGATE) की वेबसाइट पर बैंकों की सूची से आईसीआईसीआई बैंक का चयन करके ऑनलाइन भुगतान कर सकते हैं।
सूत्रों के मुताबिक अपने ग्राहकों के लिए सीमा शुल्क के डिजिटल भुगतान को सक्षम करने के लिए केंद्रीय अप्रत्यक्ष कर और सीमा शुल्क बोर्ड का आभार व्यक्त करते हुए, आईसीआईसीआई बैंक के प्रमुख (लेन-देन बैंकिंग) हितेश सेठिया ने कहा: "यह सुविधा आईसीआईसीआई बैंक के लाखों ग्राहकों को आईसगेट के माध्यम से डिजिटल रूप से सीमा शुल्क का भुगतान करने में सक्षम बनाती है।
आईसीआईसीआई बैंक पिछले एक दशक से भी अधिक समय से प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष करों के भुगतान की सफलतापूर्वक सुविधा प्रदान कर रहा है।
Account Aggregator: अकाउंट एग्रीगेटर क्या है और कैसे करता है काम, कितना होगा इससे आम आदमी को फायदा? यहां जानिए सबकुछ
वित्त मंत्रालय का कहना है कि अकाउंट एग्रीगेटर व्यक्ति को अपने व्यक्तिगत वित्तीय डेटा पर नियंत्रण के साथ सशक्त बनाता है, जो डेटा सामान्यतया अलग-थलग और आसान पहुंच से बाहर रहते हैं।
डिजिटल बैंकिंग और अन्य वित्तीय कामकाज को आसान बनाने के मकसद से वित्त मंत्रालय ने हाल ही में 'वित्तीय डेटा-साझा प्रणाली' यानी अकाउंट एग्रीगेटर (AA) नेटवर्क के रूप में एक अहम कदम आगे बढ़ाया है। वित्त मंत्रालय का मानना है कि निवेश और ऋण के क्षेत्र में अकाउंट एग्रीगेटर (Account aggregator) क्रांति ला सकता है। इससे लाखों उपभोक्ताओं को अपने वित्तीय रिकॉर्ड के उपयोग पर आसान पहुंच और नियंत्रण मिल सकता है। इसके अलावा ऋण प्रदाता और फिनटेक कंपनियों के लिए ग्राहकों की संभावित संख्या में अत्यधिक विस्तार हो सकता है। वित्त मंत्रालय का कहना है कि अकाउंट एग्रीगेटर व्यक्ति को अपने व्यक्तिगत वित्तीय डेटा पर नियंत्रण के साथ सशक्त बनाता है, जो डेटा आईसीआईसीआई चालू खाता विवरण सामान्यतया अलग-थलग और आसान पहुंच से बाहर रहते हैं।
अकाउंट एग्रीगेटर क्या है?
वित्त मंत्रालय के अनुसार, अकाउंट एग्रीगेटर (AA) आरबीआई द्वारा विनियमित एक ऐसी इकाई आईसीआईसीआई चालू खाता विवरण है, जो किसी व्यक्ति को सुरक्षित और डिजिटल रूप में एक वित्तीय संस्थान से प्राप्त अपने खाते की जानकारी को AA में शामिल किसी अन्य विनियमित वित्तीय संस्थान के साथ साझा करने में मदद करती है। व्यक्ति की सहमति के बिना डेटा को साझा नहीं किया जा सकता है। ऐसी सुविधा देने वाले कई अकाउंट एग्रीगेटर होंगे और उपभोक्ता जिसे चाहे उसे चुन सकता है। अकाउंट एग्रीगेटर, आपके डेटा के प्रत्येक उपयोग के लिए 'रिक्त चेक' स्वीकृति के लंबे नियम और शर्तों के बदले एक संक्षिप्त, चरण-दर-चरण अनुमति और नियंत्रण का प्रस्ताव देता है।
यह भारत में ओपन बैंकिंग की आईसीआईसीआई चालू खाता विवरण व्यवस्था शुरू करने की दिशा में पहला कदम है, जो लाखों ग्राहकों को सुरक्षित और कुशल तरीके से अपने वित्तीय डेटा तक डिजिटल रूप में पहुँचने और इसे अन्य संस्थानों के साथ साझा करने के लिए सशक्त बनाता है। बैंकिंग में अकाउंट एग्रीगेटर प्रणाली, भारत के आठ सबसे बड़े बैंकों के साथ शुरू की गई है। अकाउंट एग्रीगेटर प्रणाली ऋण और धन प्रबंधन को बहुत तेज और किफायती बना सकता है।
व्यक्ति के वित्तीय कामकाज को कैसे आसान बनाएगा?
भारत की वित्तीय प्रणाली में उपभोक्ताओं को कई परेशानियां का सामना करना पड़ता है, जैसे बैंक खता विवरण की भौतिक रूप से हस्ताक्षरित और स्कैन की गई प्रतियों को साझा करना, दस्तावेजों को नोटरी से हस्ताक्षर करवाने या मुहर लगाने के लिए इधर-उधर परेशान होना या किसी तीसरे पक्ष को अपना वित्तीय विवरण देने के क्रम में व्यक्तिगत उपयोगकर्ता नाम और पासवर्ड साझा करना। अकाउंट एग्रीगेटर नेटवर्क इन सभी समस्याओं के बदले एक सरल, मोबाइल-आधारित और सुरक्षित तरीके से डिजिटल डेटा तक पहुँचने व साझा करने की प्रक्रिया की पेशकश करता है। यह नई प्रकार की सेवाओं के लिए अवसर सृजित करेगा- जैसे नए प्रकार के ऋण।
एक बैंक को केवल अकाउंट एग्रीगेटर नेटवर्क से जुड़ने की आवश्यकता है। आठ बैंक पहले से ही सहमति के आधार पर डेटा साझा कर रहे हैं, चार बैंक यह सुविधा शुरू कर चुके हैं, (एक्सिस, आईसीआईसीआई, एचडीएफसी और इंडसइंड बैंक) और चार जल्द ही शुरू करने वाले हैं (भारतीय स्टेट बैंक, कोटक महिंद्रा बैंक, आईडीएफसी फर्स्ट बैंक और फेडरल बैंक)।
यह अन्य प्लेटफॉर्म से कैसे अलग है?
आधार ईकेवाईसी और सीकेवाईसी; केवल केवाईसी उद्देश्यों (जैसे नाम, पता, लिंग, आदि) के लिए 'पहचान' आधारित केवल चार प्रकार के डेटा साझा करने की अनुमति देते हैं। इसी तरह, क्रेडिट ब्यूरो डेटा केवल ऋण इतिहास और/या क्रेडिट स्कोर दिखाता है। अकाउंट एग्रीगेटर नेटवर्क बचत/जमा/चालू खातों से लेनदेन डेटा या बैंक खाता विवरण साझा करने की अनुमति देता है।
किस प्रकार का डेटा साझा किया जा सकता है?
आज, बैंकिंग लेनदेन डेटा, उन बैंकों के साथ साझा किये जाने के लिए उपलब्ध है, (उदाहरण के लिए, एक चालू या बचत खाते से बैंक विवरण) जो अभी नेटवर्क पर लाइव हैं। धीरे-धीरे एए व्यवस्था साझा करने के लिए सभी वित्तीय डेटा उपलब्ध कराएगी, जिसमें कर डेटा, पेंशन डेटा, प्रतिभूति डेटा (म्यूचुअल फंड और ब्रोकरेज) शामिल होंगे, जबकि बीमा डेटा उपभोक्ताओं के लिए उपलब्ध होगा। वित्तीय क्षेत्र के अलावा भी इस सुविधा का विस्तार होगा, ताकि एए के माध्यम से स्वास्थ्य सेवा और दूरसंचार डेटा भी लोगों के लिए सुलभ हो सके।
ग्राहक AA के साथ कैसे पंजीकृत हो सकता है?
ग्राहक AA के साथ उनके ऐप या वेबसाइट के माध्यम से पंजीकरण कर सकते हैं। AA एक हैंडल (जैसे उपयोगकर्ता नाम) प्रदान करेगा, जिसका उपयोग सहमति प्रक्रिया के आईसीआईसीआई चालू खाता विवरण दौरान किया जा सकता है। आज चार ऐप डाउनलोड के लिए उपलब्ध हैं, जिसमें फिनव्यू, वनमनी, सीएएमएस फिनसर्व और एनएडीएल शामिल हैं। इनके पास AA होने के लिए परिचालन लाइसेंस हैं। तीन और को (फोनपे, योडली और परफियोस) आरबीआई से सैद्धांतिक मंजूरी मिल गई है और वे जल्द ही ऐप लॉन्च कर सकते हैं।
ग्राहक किन नई सेवाओं का लाभ उठा सकता है?
किसी व्यक्ति के लिए दो प्रमुख सेवाओं में सुधार किया जाएगा- ऋण प्राप्ति और धन प्रबंधन की सुविधा। यदि कोई ग्राहक आज एक छोटे व्यवसाय के लिए या व्यक्तिगत ऋण प्राप्त करना चाहता है, तो ऐसे कई दस्तावेज हैं, जिन्हें ऋणदाता के साथ साझा करने की आवश्यकता होती है। यह आज एक बोझिल और कई चरणों में पूरी की जाने वाली प्रक्रिया है, जो ऋण प्राप्त करने और ऋण तक पहुंचने में लगने वाले समय को प्रभावित करती है। इसी तरह, आज धन प्रबंधन कठिन है, क्योंकि डेटा का संग्रह कई अलग-अलग स्थानों में किया जाता है और विश्लेषण के लिए आसानी से एक साथ नहीं लाया जा सकता है।
अकाउंट एग्रीगेटर के माध्यम से, एक कंपनी बिना किसी त्रुटि के तथा सुरक्षित तरीके से डेटा तक जल्दी और कम खर्च में पहुँच सकती है और ऋण मूल्यांकन प्रक्रिया को तेजी से पूरा कर सकती है, ताकि ग्राहक को ऋण मिल सके। साथ ही, एक ग्राहक जीएसटी या जीईएम जैसी सरकारी प्रणाली से सीधे नकदी प्रवाह पर या भविष्य के चालान संबंधी विश्वसनीय जानकारी साझा करके, बिना कोई सम्पत्ति दस्तावेज को गिरवी रखे, ऋण का उपयोग करने में सक्षम हो सकता है।
दसवीं पास करने पर यह सरकार देती है 10 हजार रुपये, जानिए आपको कैसे मिलेगा लाभ
Govt Vacancy, सरकारी योजना : शिक्षा को बढ़ावा देने के लिए सरकार द्वारा कई योजनाएं चलाई जा रही हैं। ऐसी ही एक योजना बिहार सरकार द्वारा चलाई जा रही है। बिहार सरकार ने शिक्षा को बढ़ावा देने के लिए मुख्यमंत्री बालक बालिका योजना शुरू की है। इस योजना के तहत छात्रों के अच्छे नंबर आने पर उन्हें पैसे दिए जाते हैं। प्रथम श्रेणी से पास होने वाले छात्रों को 10 हजार रुपये की राशि दी जाती है।
बिहार सरकार इस योजना (Bihar Government Schemes) का लाभ उन्हीं को देती है जो 10वीं पास कर चुके हैं और शादीशुदा नहीं हैं। अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति को द्वितीय श्रेणी में पहुंचने पर 8,000 रुपये तक की राशि दी जाती है। अगर आप इस योजना (Benefits Of Scheme) का लाभ उठाना चाहते हैं तो आपको परेशान होने की जरूरत नहीं है। आप बिना किसी स्कूल या ऑफिस जाए घर बैठे ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं।
आवेदन कैसे करें
मुख्यमंत्री बाल बालिका योजना में आवेदन करने के लिए आपको बिहार के शिक्षा विभाग की वेबसाइट पर जाना होगा। अब वेबपेज पर रजिस्टर्ड पर क्लिक करें। लॉग इन करने के बाद आप छात्रवृत्ति के लिए आवेदन कर सकते हैं। पंजीयन सही पाये जाने पर आवेदन के उपरान्त 10 हजार रूपये की प्रोत्साहन राशि दी जायेगी।
किन दस्तावेजों की आवश्यकता है?
इस योजना में आवेदन करने के लिए आपके पास शिक्षा प्रमाण पत्र, आय प्रमाण पत्र, जाति प्रमाण पत्र, घर का पता, बैंक खाते का विवरण, आधार कार्ड, पासपोर्ट साइज फोटो और अन्य चीजें होनी चाहिए।
कौन आवेदन कर सकता है?
आवेदन करने वाला निवेशक बिहार राज्य का निवासी होना चाहिए। अगर वह यूपी या किसी अन्य राज्य से है और बिहार से शिक्षा ले रहा है तो वह इस योजना का लाभ नहीं उठा सकता है। इसके साथ ही सरकार यह भी शर्त रखती है कि आवेदक विवाहित नहीं है।
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